Friday, 6 March 2015

अरे बाप रे ! वकिलों पर मनपा ने 13 वर्ष में खर्च किए 105 करोड़

मुंबई: मुंबई के अवैध निर्माण और अन्य मामलों में कोर्ट कचहरी पर मनपा ने  13 वर्ष में 105 करोड़ से अधिक रुपए खर्च करने की जानकारी आरटीआई कार्यकर्ता अनिल गलगली को लीगल डिपार्टमेंट ने दी है जिसमें सर्वाधिक अधिक रकम 19 करोड़ 13 लाख 57 हजार रुपए वकील के.के.सिंघवी को दी गई है.

आरटीआई कार्यकर्ता अनिल गलगली ने मनपा प्रशासन से गत 13 वर्ष में वकिलों पर हुआ खर्च और कुल मामलों की जानकारी मांगी थी.लीगल डिपार्टमेंट के डिप्टी लीगल ऑफिसर (स्माल कॉजेस कोर्ट) ने अनिल गलगली को वर्ष 2001 से 2014 इन 13 वर्षो की जानकारी दी। इनमे  151 वकिलों को 105 करोड़ 6 लाख 84 हजार 690 रुपए दिए गए है। इनमें टॉप 10 में सर्वश्री के.के.सिंघवी है जिन्हें सर्वाधिक रकम 19 करोड़ 13 लाख 57 हजार रुपए दिए गए है। के.के.सिंघवी के बाद अनिल साखरे का नंबर आता है। उन्हें 10 करोड़ 58 लाख 51 हजार 500 रुपए दिए गए है। जी ई वनावटी को 4 करोड़ 90 लाख 5 हजार 500 रुपए, ई पी भरुचा को 4 करोड़ 28 लाख 43 हजार 250 रुपए, एस यू कामदार को 3 करोड़ 65 लाख 77 हजार रुपए, रमेश भट्ट को 2 करोड़ 63 लाख 27 हजार 500 रुपए, पल्लव सिसोदिया को 2 करोड़ 6 लाख 34 हजार 350 रुपए, जे रईस को 1 करोड़ 85 लाख 25 हजार 150 रुपये, बी एल छाबरिया को 1 करोड़ 80 लाख 81 हजार रुपए, सुभाष व्यास को 1 करोड़ 80 लाख 47 हजार रुपए ऐसी रकम बांटी गई है। इन टॉप 10 वकिलों पर हुआ खर्च ये कुल 105 करोड़ रुपए की तुलना करने पर हिस्सा 49.37 प्रतिशत आता है। इन 10 वकिलों पर मनपा ने 51 करोड़ 88 लाख 14 हजार 900 रुपए खर्च किए है।

        # 21 करोड़पति वकील

मनपा के लिए मुंबई से सुप्रीम कोर्ट तक न्यायालयीन लडाई लडनेवाले 21 वकील करोड़पति हुए है।टॉप 10 के अलावा इनमें के एन तवकुलिस(1,78,93,150), अतुल चितले (1,73,43,024), एन वी वालावलकर(1,68,29,000), उदय ललित  (1,64,69,970), डी एच मेहता (1,58,10,000), रामचंद्र आपटे(1,55,80,000), पी के पंडित(1,43,93,875), एस एस पाठक (1,42,69,320), भीमराव नाईक(1,24,61,000), चितले एंड चितले पार्टनर (1,07,87,932) और अनिल सिंह(1,05,96,500) का समावेश है।

#    न्यायालयीन मामलों की
       जानकारी नही है

आरटीआई कार्यकर्ता अनिल गलगली ने वकिलों पर हुए खर्च के साथ न्यायालयीन मामलों की जानकारी मांगी थी जो उन्हें  नही दी गई। ऐसा स्वतंत्र अभिलेख(रेकॉर्ड) फिलहाल लीगल डिपार्टमेंट के पास उपलब्ध नही होने का दावा किया गया। मामलों के स्तर पर वकिलों की जानकारी न होने से वकिलों की क्षमता और मनपा ने गिने हुए धन का हिसाब लगना मुश्किल है। लेकिन भविष्य में मनपा ने उन उन वकिलों की विशेष जानकारी को संग्रहीत किया तो मनपा को उन उन विषयों के मामले में कौनसा वकील अच्छे तरीके से मनपा का पक्ष रखकर यश दिलाकर जीत सकता है, इसकी कल्पना आने का विश्वास अनिल गलगली ने व्यक्त किया. साथ ही मनपा ने याचिकाकर्ताओं से सही सुसंवाद कर मामलों को सुना और उसका निपटान किया तो वकिलों पर हुए खर्च में बड़े पैमाने पर कटौती हो सकती है, ऐसी सूचना अनिल गलगली ने मनपा आयुक्त सीताराम कुंटे को भेजे हुए पत्र में की है।


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