अश्वमेध महायज्ञ में वसुधैव कुटुंबकम हेतु की गयी प्रार्थना
सामूहिक वेदपाठ व ध्यान साधना में डूबे हजारों साधक
देश के नामचीन लोगों ने भी आहुतियां डाली, व्यसन मुक्त परिसर
नवी मुंबई, 24 फरवरी।
मुंबई महानगर के खारघर कार्पोेेरेट पार्क ग्राउण्ड में गत तीन दिनों से शुरु हुए अश्वमेध महायज्ञ के चौथे दिन वसुधैव कुटुंबकम हेतु प्रार्थना की गयी। शांतिकंुज के विद्वान आचार्यों दृवारा संचालित इस महायज्ञ में सामूहिक वेदपाठ और ध्यान साधना में हजारों साधक भक्ति के कंुभ में डूबे। देश के नामचीन लोगों ने भी आहुतियां डालकर इस ऐतिहासिक महायज्ञ में सहभागिता ली। गायत्री परिवार के प्रमुख श्रद्धेय डॉ प्रणव पण्ड्या एवं श्रद्धेया शैलदीदी के मार्गदर्शन में हुए इस अश्वमेध महायज्ञ का पूरा परिसर व्यसन मुक्त तो था ही, साथ ही भक्ति और शक्ति के महासंगम का मनोहारी दृश्य देखने को मिला।
इस अवसर पर युवा आइकॉन डॉ चिन्मय पण्ड्या ने गायत्री व यज्ञ के विविध आयामों पर विस्तृत जानकारी दी है। उन्होंने कहा कि मनुष्य ही एक ऐसा प्राणी है, जो अंदर बैठे भगवान को साधना के माध्यम से पहचान पाता है और तद्नुरूम कार्य करते हुए सफलता की सीढी चढता है। सनातन संस्कृति और अध्यात्म जागरण से भारत विकास की प्रगति पथ पर आरुढ होगा और विश्व के नेतृत्व की क्षमता को विकसित करेगा।
एक तरफ यज्ञशाला से उठती पर्यावरण को परिष्कृत करती परम पवित्र यज्ञाग्नि है तो वहीँ दूसरी ओर संस्कारों की प्राण ऊर्जा कराती संस्कारशाला है। जहाँ विभिन्न संस्कारों के माध्मय से परिवार की नीव मज़बूत करने का कार्य किया जा रहा है। नामकरण, अन्नप्राशन, विद्यारम्भ, पुंसवन और उपनयन जैसे कई संस्कार अश्वमेध महायज्ञ के दौरान कराये गए। यह सभी संस्कार निःशुल्क कराये गये। यह संस्कार जब ऐसे दिव्य स्थान पर जाए तो उनका महत्व और बढ़ जाता है।
वहीं सायंकाल विद्वान ब्रह्मवादिनी बहिनों के संचालन भव्य व दिव्य विराट् दीपमहायज्ञ सम्पन्न हुआ। जिसमें हजारों लोगों ने राष्ट्र को संगठित एवं विकसित के लिए सामूहिक प्रार्थना की गयी। इस अवसर पर उद्योगपति, सामाजिक कार्यकर्ता, सिने कलाकार, पुलिस प्रशासन सहित अन्य मान्यवरों ने उत्साहपूर्वक प्रतिभाग किया।
-दीपमहायज्ञ के लिए कैदियों ने भेजे दीप
महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश और उत्तरप्रदेश के विभिन्न जेलों के कैदियों ने दीपमहायज्ञ के लिए पचास हजार दीपों का उपहार भेजा। यह आटे का दीपक अपने मेहनत की कमाई से बनाये थे, दीपक के साथ घी और बाती भी भेजे।
-प्रख्यात गायक शंकर महादेवन, समीर अंजान व हिमेश रेशमिया द्वारा प्रज्ञागीत का लोकार्पण
अश्वमेध महायज्ञ के लिए प्रख्यात गायक शंकर महादेवन ने धर्मप्रेमियों प्रज्ञागीत इस गीत के लिए स्वर दिया, तो वहीं इस गीत के रचनाकार हैं समीर अंजान और संगीत हिमेश रेशमिया ने दिया। इस गीत ने पूरे अश्वमेध महायज्ञ परिसर के हरेक जुबान में है।
- स्वास्थ्य शिविर का आयोजन
रोटरी क्लब ऑफ मुंबई रायल्स एवं रोटरी क्लब आफ एडिक्शन प्रीवेंशन के सहयोग महायज्ञ स्थल व्यसन मुक्त शिविर का आयोजन किया। साथ ही रोटरी क्लब आफ नवी मुंबई सनराइज ने अंगदान तथा रोटरी क्लब नवी मंुबई में रक्तदान शिविर में उल्लेखनीय सहयोग किया।
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