Saturday, 11 April 2020

राज्य सरकार अमिताभ गुप्ता को निलंबित कर सकती है

गृह मंत्री अनिल देशमुख ने दावा किया है कि केंद्र को महाराष्ट्र राज्य में गृह विभाग के प्रधान सचिव अमिताभ गुप्ता को निलंबित करने का अधिकार है। लेकिन वास्तव में, राज्य सरकार चाहे तो गुप्ता को निलंबित कर सकती है, यह कहते हुए आरटीआई कार्यकर्ता अनिल गलगली ने राज्य सरकार को वह नियम भेजे हैं जिसके तहत निलंबन की कारवाई संभव हैं। अब प्रशासनिक जांच शुरू करते हुए, परोक्ष रूप से अमिताभ गुप्ता को बचाने की कोशिश की जा रही है, और राज्य सरकार की भूमिका पर सबकी निगाहें टिकी हुई हैं।

आरटीआई कार्यकर्ता अनिल गलगली ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, गृह मंत्री अनिल देशमुख और मुख्य सचिव अजय मेहता को भेजे पत्र में केंद्र सरकार की उस नियम की कॉपी जोडी है। इस कॉपी में स्पष्ट किया गया है कि DoPT ने राज्य सरकार को IAS, IPC और IFS को निलंबित करने का अधिकार दिया है। अखिल भारतीय सेवा (आचरण) नियम, 1969 की धारा 3 के तहत कार्रवाई की जा सकती है। निलंबन आदेश, कारणों सहित निलंबन की सूचना केंद्र को 48 घंटे के भीतर बताई जानी है। इसकी अवधि 1 महीने तक बढ़ाई जा सकती हैं। साथ ही ऐसे अधिकारी वर्ग की निलंबन की अवधि केंद्र सरकार के सुझाव के अनुसार बढ़ सकती है। निलंबन अवधि बढ़ाने के लिए राज्य का मुख्य सचिव के नेतृत्व में एक अतिरिक्त मुख्य सचिव और कर्मचारी विभाग के सचिव, सदस्य सचिव वाली समिति का गठन किया जा सकता है।

अनिल गलगली के अनुसार, राज्य सरकार और गृह मंत्री अनिल देशमुख ने मौजूदा नियमों की अनदेखी कर एक तरह से अमिताभ गुप्ता को बचाने के लिए प्रशासनिक जांच शुरु की हैं। अमिताभ गुप्ता का पत्र स्पष्ट है और सरकार को तुरंत इसे निलंबित करना चाहिए।

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